इलेक्शन 2022
उत्तराखण्ड से दूर दिल्ली में ‘हरदा’ ने लिखी थी ‘हरक’ के इस्तीफे की पटकथा… जानिए…
उत्तराखण्ड की राजनीति में उथलपुथल जारी है, कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत के इस्तीफा देने के बाद उत्तराखंड की राजनीति में सियासी भूचाल आ गया है, वहीं भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक ने जानकारी देते बताया कि हरक सिंह रावत की स्थिति कि उनके पास कोई जानकारी नहीं है, फिलहाल वो देहरादून से बाहर थे, देहरादून पहुँचने के बाद स्थितियों को समझने की कोसीस करेंगे। टॉप की खबर से बात करते हुए हरक सिंह रावत ने कहा कि मेरा स्वास्थ्य खराब है और क्षेत्र के लिए मेरे लिए मंत्री पद छोटा है, इसलिए मैंने मंत्री पद से इस्तीफा दिया है, पिछले 5 सालों से मैं कई बार सरकार से मांग करता रहा लेकिन उस पर सरकार ने कभी भी कोई ध्यान नहीं दिया। ऐसे में इस्तीफा देना मुझे सबसे उचित लगा। हरक सिंह रावत कोटद्वार में मेडिकल कॉलेज को बनाए जाने की मांग कर रहे थे, लेकिन सरकार इस ओर कोई ध्यान नहीं दे रही थी।
इसी वजह से उन्होंने इस्तीफा दिया है, हरक सिंह रावत के सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार व कांग्रेस की सदस्यता जल्द ग्रहण कर सकते हैं, क्योंकि दिल्ली में हरीश रावत से बातचीत के बाद हरक सिंह रावत ने इस्तीफा दिया है, ऐसे में वह हरिद्वार की नारसन में कांग्रेस की सदस्यता ले सकते हैं, जानकारी यह भी है की हरीश रावत और हरक सिंह रावत दोनों दिल्ली में मौजूद थे। हरक सिंह रावत उत्तराखंड की राजनीति में एक कद्दावर नेता के रूप में अपनी पकड़ रखते हैं।
2016 में कांग्रेस से बगावत करने के बाद हरक सिंह रावत भाजपा में शामिल हो गए थे और सरकार बनने पर उन्हें वन मंत्रालय जैसा अहम पद भी दिया गया था। वह अक्सर अपने बागी तेवर सरकार को दिखाया करते थे और एक बार आज उन्होंने बागी तेवर दिखाते हुए कैबिनेट मंत्री के पद से इस्तीफा दे दिया है। वह जल्द कांग्रेस में शामिल हो सकते हैं।