उत्तराखण्ड
नैनीताल- हॉर्टिकल्चर टूरिज्म को लेकर पूर्व डीएम धीराज के प्रयासों को विभिन्न राज्यों से आए कृषि अधिकारियों ने सराहा, शानदार सेव देखकर हुए गदगद…
नैनीताल जिले के पूर्व डीएम धीराज गर्भयाल ने अपने कार्यकाल के दौरान रामगढ़ क्षेत्र में बंजर जमीन में सेब की नर्सरी को विकसित करके हॉर्टिकल्चर टूरिज्म के क्षेत्र में एक बड़ी कामयाबी हासिल की है, फिलहाल धीराज गर्भयाल हरिद्वार में डीएम के रूप में अपनी सेवाएं दे रहे है लेकिन उनके द्वारा नैनीताल के रामगढ़ में विकसित की गई सेब की नर्सरी चर्चा का विषय बनी हुई है और अब नर्सरी अपने रूप में आ गई है जिसे देखकर लोग आश्चर्यचकित हैं आज विभिन्न राज्यों से आये कृषि अधिकारियों ने रामगढ़ के हॉर्टिकल्चर टूरिज्म वाले क्षेत्र में सेब की विकसित नर्सरी को देख जहां सभी कृषि अधिकारी सेब की नर्सरी को देखकर आश्चर्यचकित हुए हम आपको बता दें कि इस नर्सरी में सेब के 2100 पौधे लगाए गए हैं जिसमें मुख्य रुप से रेड डिलीशियस, ग्रेनी स्मिथ, गेल गाला, डेकारली, हनी क्रिस्प,हेपके गाला, शिंचो रेड,किंग रोट, जेरोमाइन मोदी जैसे कई प्रकार के सेब के पौधे लगाए लगाए गए है जो आज पूरी तरह से तैयार है और जिसमें फल अच्छी खासी संख्या में आए हुए हैं, कृषि अधिकारियों को आज के निरीक्षण में यह बताया गया कि रामगढ़ में आने वाले समय मे यहाँ हॉर्टिकल्चर टूरिज्म की दृष्टिकोण से 8 कॉटेज भी स्थापित करने की योजना है साथ ही किसानों को सेब उत्पादन का प्रशिक्षण भी यहां दिया जाएगा ऐसे में सिर की नर्सरी का निरीक्षण करने आए कृषि अधिकारी काफी प्रभावित हुए साथ ही यह बताया गया कि सेब की सिंचाई के लिए 65000 लीटर का टैंक भी बनाया गया है पौधों को सहारा देने के लिए ट्रेलिस लगाए गए हैं जिला प्रशासन और उद्यान विभाग के प्रयासों के बाद जिले में अपनी तरह की पहली या सेब की नर्सरी है कृषि अधिकारियों ने पूर्व डीएम धीरज के प्रयासों की जमकर सराहना की, इस सेब की नर्सरी को विकसित करने के पीछे पूर्व डीएम धीराज गर्भयाल की कड़ी मेहनत की है उनका मानना है कि नैनीताल जिले को सेब उत्पादन के क्षेत्र में आगे ले जाना है ताकि यहां के सेब के उत्पादन करने वाले काश्तकारों को आर्थिक रूप से मजबूत किया जा सके